दीपक तिवारी, विदिशा
शहर से 3 किलोमीटर दूर भोपाल-सांची मार्ग पर श्री दादाजी मनोकामना पूर्ण सिद्ध श्री हनुमान मंदिर रंगई पुल विदिशा देश का अनोखा हनुमान मंदिर है, जहां हनुमानजी ने शनिदेव को अपने पैर के नीचे दबा रखा है। इनके दर्शन से श्रद्धालुओं को हनुमान जी की कृपा के साथ शनिदेव का भी आशीर्वाद मिलता है। यहां मंगलवार-शनिवार को दादाजी के दर्शन करने श्रद्धालुओं का मेला लगा रहता है। मंगलवार- शनिवार के अलावा कई भक्त दरबार में रोज हाजिरी लगाकर श्री दादाजी से अपनी और अपने परिवार में खुशहाली के लिए दंडवत प्रणाम करना नहीं भूलते हैं। रंगई धाम में देश और विदेश के श्रद्धालुओं की मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं, इसलिए मंदिर में हाजिरी लगाने वालों की संख्या बढ़ती ही जा रही है। कलयुग की गंगा मां बेत्रवती के पावन तट पर स्थित श्री दादाजी मनोकामना पूर्ण सिद्ध श्री हनुमान मंदिर लगभग पांच सौ साल प्राचीन है। जहां दादाजी साक्षात रुप में विराजमान होकर अपने भक्तों और दीन दुखियों के संकट और कष्टों का निवारण कर उनके जीवन में रोशनी बिखेर रहे हैं। इस मंदिर की मूर्ति अद्वितीय है, जिसमें हनुमान जी महाराज शनिदेव के ऊपर अपना पैर रखे हैं। इसलिए दादाजी के दर्शन से शनि से पीड़ित लोगों को भी राहत मिलती है और दादाजी के आशीर्वाद से शनिदेव के कोप से मुक्ति मिलती है। मंदिर में पिछले 40 साल से अखंड रामधुन गुंजायमान हो रही है। जिससे दादाजी के दरबार में पहुंचकर भक्तों को सुकून व शांति मिलती है और सभी तरह के कष्टों का निवारण होता है। कुटिया नुमा मंदिर ने लिया विराट स्वरूप प्रातः स्मरणीय परम पूज्य गुरुदेव महामंडलेश्वर 1008 श्री विश्वंभर दास जी रामायणी महाराज अपने परम पूज्य गुरुदेव महाराज के आशीर्वाद से लगभग 70 साल से रंगई धाम की बागडोर संभाले हुए हैं। उनकी साधना और तप ने कुटियानुमा मंदिर को विराट स्वरूप प्रदान कर दिया है।