सरयू जी के उद्गम स्थल पर मनाया गया मां सरयू का अवतरण दिवस
June 12, 2025
एमपी धमाका, भद्रतुंगा (उत्तराखंड)
स्वामी श्री रामानंद संत आश्रम सरमूल भद्रतुंगा उत्तराखंड में मां सरयू जी का अवतरण दिवस धार्मिक हर्षोल्लास और विधि-विधान के साथ परम पूज्य गुरुदेव महामंडलेश्वर 1008 स्वामी श्री अभिरामदास त्यागी जी महाराज के पावन सानिध्य में मनाया गया। इस अवसर पर बड़ी संख्या में श्रद्धालु आश्रम पर इकट्ठे हुए और परम पूज्य श्री गुरुदेव महाराज के सानिध्य में बैंड बाजा, ध्वजा पताकाओं के साथ मां सरयू उद्गम स्थल पहुंचे और मां सरयू जी की पूजा अर्चना कर आरती उतारी। बाद में प्रसादी वितरित की गई।
सरयू नदी का अवतरण ज्येष्ठ सुदी पूर्णिमा को हुआ था ,सरयू का एक नाम नेत्रजा भी है, क्योंकि यह विष्णु भगवान के नेत्रों से निकली हैं। जिसे वशिष्ठ मुनि धरती पर मानसरोवर होते हुए लाये थे। मानसरोवर से गुप्त रूप में होते हुए माँ सरयू का उद्गम सरमूल सौधार माना जाता है।
प्रातः स्मरणीय पूज्य श्री सद्गुरूदेव भगवान ने सरमूल भद्रतूँगा (सरयू का उद्ग़म स्थल ) उत्तराखण्ड में स्वामी रामानन्द संत आश्रम की स्थापना इसी उद्देश्य से की है कि लोग सरयू माँ का अकथनीय महत्व जानें एवं इस दुर्गम स्थान जिसे धरती का स्वर्ग द्वार भी कहते हैं, आकर असीमित धार्मिक आनंद एवं आध्यात्मिक ऊर्जा शक्ति का अनुभव लें। कल-कल बहती सरयू नदी के जल में स्नान, मार्जन, आचमन करें और स्वास्थवर्धक खनिज और वनस्पति का शरीर में हुए अभावों की प्राकृतिक रूप से पूर्ति करें।भविष्य में इसे उत्तराखण्ड का पाँचवां धाम भी माना जाने लगेगा।
हमारे सनातन धर्म के पुराण में माँ सरयू का अत्यधिक महत्व का वर्णन किया गया है ।
चारों युग जब 71 बार बीत जाता है तब एक मन्वंतर होता है। इस प्रकार एक हजार मन्वंतर काशी में वास कीजिये। गंगा में स्नान करके विश्वनाथ में जल चढाते हुए 1000 मन्वंतर में जो फल आपको प्राप्त होगा, वह सरयू मैया के दर्शन मात्र से प्राप्त हो जाता है ।
1 कल्प यानी 4 अरब बत्तीस करोड़ मनुष्य के दिन से जब बीत जाता है तब एक कल्प होता है। 1 कल्प मथुरा में वास करने से जो फल प्राप्त होता है, वह फल सरयू मैया के दर्शन मात्र से प्राप्त हो जाता है ।
गोस्वामी तुलसी दास जी ने भी लिखा है।
कोटि कल्प काशी बसे, मथुरा कल्प हजार।
एक निमिष सरयू बसे, तुले न तुलसी दास।।
मां सरयू अवतरण दिवस की एमपी धमाका के दर्शकों और पाठकों को हार्दिक शुभकामनाएं।